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Badam kajal
बादाम का काजल
Traditional kohl for newborn
Badam kajal
Traditional kohl for newborn
The best kajal
सबसे पहले एक दीपक जला लेंगे | दीपक सरसों या तील के तेल का या फिर घी का जला लेते है | एक या दो बादाम को एक चिमटे से पकड़ कर दीपक की लौ में पूरी तरह से जला लेते है | जब जल जाए तो उसे ठंडा कर के उसे दबा कर पाउडर कर लेते है | जब लगाना हो उस पाउडर को अपने ऊंगलियों में लगाकर नवजात शिशु के आँखों में या स्वयं के आँखों में लगा लेते है |
Badam kajal
इसे चाहे तो एक बून्द गौ के शुद्ध घी के सहारे बादाम के जले पाउडर को मिलाकर रख लेंगे और काजल की तरह लगा लेंगे | यदि शुद्ध गौ का घी न हो तो सिर्फ पाउडर को अँगुलियों में लगाकर तब काजल की तरह आँखों में लगा लेंगे |
Badam kajal
ये काजल आँखों के लिए सबसे उत्तम है | नवजात शिशु को तो यही काजल लगाना सबसे उत्तम है | काजल लगाने से आँखों की रोशिनी तो अच्छी होती ही है आँख भी बड़ा होता है | साथ ही साथ आखों की खूबसूरती भी बढ़ जाती है | बस ध्यान यही रखना है की बादाम का पाउडर एकदम सही से बने उसमे एक भी दाना नहीं रहना चाहिए |
Badam kajal
अंगुली में एकदम पाउडर करके ही आँखों में लगाएं | बहुत असरदार काजल है |
काजल को चाहे तो खल में पाउडर कर लें | उसके बाद उसे उसी खल में धो लें | अच्छे से सूखा लें | वैसे तो बादाम में खुद का तेल होता है | लेकिन चाहे तो एक बून्द घी लगाकर काजल मिला लें और किसी साफ़ सूखे डब्बे में निकाल कर रख लें | डब्बा बिल्कुल airtight ही रखे |
इस काजल को बनाने के लिए मेरी वीडियो आप देख सकते है |
आँखों की रौशनी बढ़ाने के लिए बादाम की एक और recipe मैंने शेयर की है link share कर रही हूँ |
धन्यवाद !
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